विष योग कर्क लग्न पार्ट-3
तीसरे भाव मे बैठे शनि देव कर्क लग्न मे विष योग बनाएंगे दोनों ग्रह ही यहाँ बैठे दोनों ग्रह बुरा फल देंगे क्यूंकि की दोनों ग्रह मारक हुए !
फल -तीसरे भाव मे बैठे
विष योग कर्क लग्न पार्ट-2
कर्क लग्न की कुंडली मे दूसरे भाव मे बैठे चंद्र शनि विष योग बनाएंगे लेकिन यहां शनि देव बुरा फल देंगे और चंद्र देव के अच्छे फलों मे कमी लाएंगे !
फल-शनि देव दूसरे भाव
चौथे भाव मे बैठे शनि चंद्र कर्क लग्न मे विष योग बनाएंगे लेकिन यहाँ चंद्र देवता योगकारक होकर केंद्र भाव चौथे स्थान मे बैठे है जो की बहुत अच्छा माना जाता है और उनका कारक भाव भी है !तो
पांचवे भाव मे बैठे शनि चंद्र विष योग बनाएंगे लेकिन यहाँ शनि देव बुरा फल देंगे और चंद्र देव भी यहाँ बुरा फल देंगे क्यूंकि चंद्र देव लग्नेश होकर त्रिकोण में नीच के होकर बैठे है तो अतिमारक हुए
छठे भाव मे बैठे शनि चंद्र दोनों विष योग बनाएंगे यहाँ दोनों ही बुरा फल देंगे क्यूंकि दोनों ग्रह मारक हुए, शनि देव भी विपरीत राजयोग पर नहीं आ सकते क्यूंकि लग्नेश चंद्र भी मारक है तो साफ है के
1.कुछ लोग वार के अनुसार वस्त्र पहनते है, यह हर किसी के लिए सही नहीं होता क्यूंकि कुंडली मे जो ग्रह अच्छे है उसके ही वस्त्र पहनना चाहिए जो बुरे है उसके नहीं पहनना चाहिए !
2.मंत्र जाप करने के
नवम भाव मे बैठे शनि+चंद्र विष योग बनाएंगे लेकिन ध्यान देने वाली बात यही है की शनि देव चंद्र देवता के अच्छे फल मे कमी लाएंगे !
फल -चंद्र+शनि की युति नवम भाव पर शनि देव पिता से अनबन,भाग्य
आठवें भाव मे बैठे शनि+चंद्र विष योग बनाएंगे यहाँ दोनों ही बुरा फल देंगे क्यूंकि की दोनों ग्रह मारक है तो शनि चंद्र यहाँ दोनों ही बुरा फल देंगे शनि देव का अपनी राशि पर बैठे है जो की
सातवें भाव मे बैठे शनि+चंद्र विष योग बनाएंगे लेकिन यहां चंद्र देवता योगकारक और लग्नेश केंद्र भाव मे होने के कारण बुरा फल नहीं देंगे, शनि देव भी आपने घर को बचाएंगे क्यूंकि उनकी अपनी ही राशि है लेकिन
दशम भाव मे बैठे शनि चंद्र विष योग बनाएंगे लेकिन यहां शनि नीच के होकर अति मारक हुए जो की बुरा फल देंगे और चंद्र देव की अच्छाई को भी कम करेंगे ! ध्यान दें अगर शनि नीच भंग
वृष लग्न की कुंडली मे दसवें भाव मे बैठे शनि देव और चंद्र देव विष योग बनाएंगे लेकिन चंद्र देव कारण बनेंगे विष योग का शनि देव यहां अति योगकारक ग्रह होने की वजह से विष योग नही बनाएंगे
विष योग वृष लग्न पार्ट -8
वृष लग्न की जन्म कुंडली मे आठवें भाव मे बैठे शनि चंद्र देवता दोनों ही विष योग बनाएंगे क्यों यहाँ बैठे शनि चंद्र देवता दोनों ही मारक है और दोनों ही बुरा फल
मिथुन लग्न कुंडली में लग्न में बैठे शनि और चंद्र देव विष योग बनाएंगे लेकिन ध्यान देने योग्य बात यही है की यहाँ विष योग बनने का कारण लग्नेश बुध के अति शत्रु चंद्र देव होंगे ना की शनि
मिथुन लग्न की कुंडली मे दूसरे भाव मे बैठे चंद्र और शनि देवता विष योग बनाएंगे लेकिन यहां समझने बात योग्य यही है की यहां विष योग बनने का कारण चंद्र देवता होंगे ना शनि देवता चंद्र देवता शनि
विष योग वृष लग्न पार्ट -12
वृष लग्न मे बारहवें भाव मे बैठे शनि और चंद्र देवता विष योग बनाएंगे यहाँ दोनों ग्रह बुरा फल देंगे क्यों की चंद्र देवता बारहवें भाव मे मारक हुए और शनि देव नीच
तीसरे भाव मे बैठे दोनों ग्रह चंद्र, शनि मिथुन लग्न मे विष योग दोनों ही बनाएंगे क्यों की दोनों ग्रह इस लग्न कुंडली मे मारक है जिस कारण दोनों ग्रह बुरा फल देंगे !दोनों ग्रह अशुभ फल देंगे
पंचम भाव मे बैठे शनि चंद्र दोनों ग्रह मिथुन लग्न मे विष बनाएंगे लेकिन चंद्र देवता इस लग्न कुंडली मे लग्नेश के अति शत्रु होने की वजह से विष योग का कारण बनेगें और शनि से अच्छे प्रभाव
ग्रह कब खराब होते है और क्यों?
ग्रह कब खराब होते है और क्यों?
सूर्य -झूठे हाथ सिर पर लगने से, पिता सम्मान व्यक्ति की इज्जत ना करने से !
चंद्र -पानी व्यर्थ फैलाने से, माता की कद्र ना करना
मीन राशि में गोचर का चंद्र (शुभ/अशुभ )कैसे देखें –
चंद्र देवता एक ऐसा ग्रह है जो ज्योतिष में सबसे तेज़ चाल से चलता है जिसका असर हमारे मन,मानसिक और स्वभाव में भी फर्क पड़ता है वो भी बहुत तेज़ी
कुम्भ राशि में गोचर का चंद्र (शुभ/अशुभ )कैसे देखें –
चंद्र देवता एक ऐसा ग्रह है जो ज्योतिष में सबसे तेज़ चाल से चलता है जिसका असर हमारे मन,मानसिक और स्वभाव में भी फर्क पड़ता है वो भी बहुत तेज़ी